उसने दिन रात सताया मुझको इतना
की नफरत भी हो गई... और महोब्बत भी हो गई...
उसने इस अहतराम से मुझसे महोब्बत की...
के गुनाह भी न हुआ... और इबादत भी हो गई...
मत पूछ के उसके महोब्बत करने का अंदाज कैसा था...
उसके इस शिद्दत से गले लगाया की...
मौत भी न हुई... और जन्नत भी मिल गई...
- अनिवेश
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